कार्रवाई नहीं होने से क्षुब्ध परिवार ने एसपी से मांगी आत्महत्या की अनुमति
कार्रवाई नहीं होने से क्षुब्ध परिवार ने एसपी से मांगी आत्महत्या की अनुमति

चांपा। करीब डेढ़ महीना पहले पामगढ़ के तालाब में एक व्यक्ति की संदिग्ध अवस्था में लाश मिली थी। इस मामले में पुलिस अब तक कोई कार्रवाई नहीं कर सकी है। इधर, मृतक के परिजन डेढ़ महीने से लगातार न्याय की उम्मीद में चांपा थाना से लेकर एसपी और आईजी कार्यालय की दौड़ लगा रहे हैं, लेकिन नतीजा सिफर है। मृतक की पत्नी और दुधमुंहे बच्चे के साथ उसकी दोनों बेटियां आज फिर एसपी कार्यालय पहुंची और उन्होंने न्याय की गुहार लगाई।

पूरे मामले में उन्होंने हत्या का आरोप दर्जन भर संदेहियों पर लगाया है। मामले में शीघ्र कार्रवाई नहीं होने की स्थिति में पूरे परिवार को आत्महत्या के लिए अनुमति देने की मांग की। एसपी जांजगीर से की अपनी शिकायत में मृतक की पुत्री बबली पटेल ने कहा है कि यह गंभीर मामला चांपा के कोटाडबरी का है, जहां का रहने वाला उसका पिता रामकुमार पटेल ड्यूटी में जाने के लिए बीते 17 जून को अपने घर से साइकिल से निकला था, लेकिन रास्ते में वह रहस्यमय ढंग से गायब हो गया। काफी खोजबीन के बाद भी जब रामकुमार का पता नहीं चला तो परिजनों ने मामले की सूचना चांपा थाने में दी। साथ रामकुमार के अपहरण की शंका गांव के ही करीब दर्जन भर लोगों पर व्यक्त करते हुए मामले में अपराध दर्ज करने की मांग की गई। इसके बाद 23 जुलाई को रामकुमार यादव की साइकिल कोटाडबरी के बड़े तालाब के पास मिली, जबकि इसके दूसरे ही दिन यानी 24 जुलाई को रामकुमार यादव की संदिग्ध अवस्था में लाश पामगढ़ क्षेत्र के नेवराबंध नहर में मिली, जिसकी शिनाख्त परिजनों ने रामकुमार यादव के रूप में की। इसके बाद भी परिजनों ने पुलिस से मामले में कार्रवाई की मांग की, लेकिन अब तक किसी तरह की कार्रवाई नहीं हो सकी है। शिकायत में कहा गया है कि उसके पिता का गांव के ही करीब दर्जन भर लोगों ने पहले हत्या की, फिर उसके शव को पानी में फेंक दिया।

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इस पूरे मामले से पुलिस को बार-बार अवगत कराया गया, लेकिन पुलिस कार्रवाई करने से कतरा रही है। उन्होंने बताया कि न्याय की गुहार लेकर वो चांपा से लेकर एसपी कार्यालय जांजगीर और आईजी कार्यालय बिलासपुर का चक्कर काट चुके हैं, लेकिन अब तक कोई कार्रवाई नहीं हो सकी है। आज फिर मृतक रामकुमार की पत्नी और उसकी दो पुत्री दुंधमुंहे बच्चे के साथ एसपी कार्यालय पहुंची। उन्होंने एसपी को आवेदन देकर न्याय की गुहार लगाई, साथ ही कार्रवाई नहीं होने पर उन्हें परिवार सहित आत्महत्या की अनुमति देने की मांग की । बबली पटेल ने अपने आवेदन में कोटाडबरी के करीब दर्जन भर लोगों पर उसके पिता की हत्या किए जाने की शंका व्यक्त करते हुए पुलिस थाने में रिपोर्ट भी दर्ज कराई है। उसका कहना है कि संदेहियों द्वारा उनका रास्ता रोककर जान से मारने की धमकी दी गई है तो वहीं उसके घर में पत्थर फेंककर जान से मारने की धमकी दी गई है। कार्रवाई नहीं होने पर पूरा परिवार आत्महत्या के लिए अनुमति मांग रहा है, जबकि इधर पुलिस अमला इस पूरे मामले में पूरी तरह उलझ गई है। पुलिस का कहना है कि पामगढ़ में मिले शव की शिनाख्त नहीं हो सकी है, इसलिए डीएनए के लिए भेजा गया है, जबकि परिजन पामगढ़ में मिले शव को ही रामकुमार पटेल का बता रहे हैं। इसके अलावा पीएम में भी उक्त शव की मृत्यु का कारण स्पष्ट नहीं है। ऐसी स्थिति में यदि उक्त शव के डीएनए में भी यदि रामकुमार पटेल का शव होने की पुष्टि हो भी जाती है तो भी पीएम रिपोर्ट स्पष्ट नहीं होने के कारण बिसरा रिपोर्ट के आने का इंतजार करना पड़ेगा, जो कब आएगा ये बता पाने की स्थिति में कोई भी नहीं है।

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