रायपुर । राज्य में जैविक खेती को बढ़ावा देने तथा रासायनिक उर्वरकों पर निर्भरता एवं कृषि लागत को कम करने के उद्देश्य से किसानों द्वारा अब वृहद पैमाने पर जैविक खाद का उपयोग शुरू कर दिया गया है। गोधन न्याय योजना के तहत गौठानों में क्रय किए गए गोबर से निर्मित वर्मी कम्पोस्ट एवं सुपर कम्पोस्ट खाद का उपयोग राज्य के किसान करने लगे हैं।
सहकारी समितियों के माध्यम से अब तक 6 लाख 10 हजार 268 क्विंटल से अधिक वर्मी कम्पोस्ट तथा 1 लाख 48 हजार 652 क्विंटल से अधिक सुपर कम्पोस्ट का उठाव किसानों द्वारा किया गया है। यहां यह उल्लेखनीय है कि गौठानों में गोधन न्याय योजना के तहत 2 रूपए किलो में गोबर क्रय कर इसके जरिए वृहद पैमाने पर वर्मी कम्पोस्ट एवं सुपर कम्पोस्ट खाद का निर्माण किया जा रहा है। गौठानों में अब तक 11 लाख 63 हजार 864 क्विंटल से अधिक जैविक खाद का उत्पादन महिला स्व-सहायता समूहों द्वारा किया जा चुका है, जिसमें 8 लाख 7 हजार 234 क्विंटल वर्मी कम्पोस्ट तथा 3 लाख 56 हजार 630 क्विंटल सुपर कम्पोस्ट खाद है। जिसमें से 7 लाख 58 हजार 921 क्विंटल से जैविक खाद का विक्रय हो चुका है।