गरियाबंद। पाण्डुका वन परिक्षेत्र के अंतर्गत ग्राम मुरमुरा के जंगलो में झरझरा मंदिर के समीप लगभग सात से आठ दिनों तक तीन दंतैल हाथी अपना डेरा जमाए हुए है। वही झरझरा मंदिर के पास धान के फसलों का बुरा हाल किया जा रहा है। जिससे किसानों के मन में रोष है।वही मुरमुरा जंगल से लगे आसपास के गांवो में वन विभाग द्वारा लाउडस्पीकर के माध्यम से सूचना दिया जाता है कि जंगल की ओर ना जाए, रात्रि में घर से बाहर ना निकले तथा हाथी से सावधानी बरतने की लोगो को अलर्ट किया जाता है।
हाथी मित्रो द्वारा लगातार हाथियों के मूवमेंट पर नजर बनाए हूए है। हाथी मित्र ने बताया की रात को जंगल मे काफी आवाज़ किया और रात भर चीघड़ते रहे लगता है हथियों के बिच लड़ाईया भी हुवा जिस करण शायद एक सदस्य को दल से निकाल् दिया जो अब अकेले घूम रहा जो पहले से ज़्यदा खतरनाक साबित हो सकता है ।वही तीन दंतैल हाथी के दल में दो तीन दिन पहले एक दंतैल हाथी हाथी दल में शामिल हुए थे। चारो दंतैल हाथी मुरमुरा बिट से लगे नहर क्रमांक 220 के पास नहर से पार होकर मुरमुरा बस्ती के समीप के खेतो को नुकसान पहुंचाया गया। नुकसान पहुंचाने के बाद एक दंतैल हाथी दल से अलग होकर तौरेगा की ओर चला गया जो तौरेंगा के गलियों से होता हुवा बुधवार को कुम्हारमरा वा अतरमरा के मरिया देव जंगल मे था जबकि तीन दंतैल हाथी मुरमुरा के जंगल में ही है। जिससे किसानो के मन में भय बना हुआ है। कि और कितना बर्बाद करेगा ये फसलों को वाही ग्रामीणों ने हुय नुकसान का मुआवजा की मांग किया है