रायपुर, छत्तीसगढ़: छत्तीसगढ़ के निजी मेडिकल कॉलेजों द्वारा अधिक फीस वसूली को लेकर प्रवेश व फीस विनियामक समिति ने अंतरिम फीस निर्धारित की है।
इसके तहत तीन निजी मेडिकल कॉलेजों के एमबीबीएस और दो निजी मेडिकल कॉलेजों में संचालित स्नातकोत्तर (पीजी) सीटों की फीस तय कर दी गई है। यह फीस वर्ष-2024 से 2027 तक के लिए लागू होंगी।
एमबीबीएस फीस:
- श्री बालाजी इंस्टिट्यूट आफ मेडिकल साइंसेस, मोवा: 8 लाख 2 हजार 7 सौ रुपये प्रति वर्ष
- रावतपुरा सरकार इंस्टिट्यूट ऑफ मेडिकल साइंसेस और रिसर्च सेंटर, नवा रायपुर: 7 लाख 45 हजार 187 रुपए प्रतिवर्ष
- अभिषेक आई मिश्रा मेमोरियल कॉलेज एंड रिसर्च, जुनवानी भिलाई: 7 लाख 45 हजार 187 रुपए प्रतिवर्ष
पीजी फीस:
- रायपुर इंस्टीट्यूट ऑफ मेडिकल साइंस (रिम्स), गोढ़ी:
- क्लीनिकल सीटें: 9 लाख 84 हजार से 500 रूपए प्रति वर्ष
- प्री-क्लीनिकल/ पैरा-क्लीनिकल: 7.92 लाख रुपये से 8.48 लाख रुपए तक प्रति वर्ष
- श्री शंकराचार्य इंस्टीट्यूट ऑफ मेडिकल साइंसेस, जुनवानी भिलाई:
- क्लीनिकल सीटें: 10 लाख 54 हजार रूपए प्रति वर्ष
- प्री-क्लीनिकल/पैरा-क्लीनिकल: 8 लाख 48 हजार 200 रुपये प्रति वर्ष
कैसे तय हुई फीस?
विनियामक समिति ने निजी मेडिकल कालेजों के निरीक्षण, जांच, पड़ोसी राज्यों में प्रचलित फीस की दर और छत्तीसगढ़ की स्थिति प्रति व्यक्ति औसत आय आदि तथ्यों को देखते हुए बैठक कर फीस तय की है।
अंतरिम फीस में सभी सुविधाएं शामिल:
विनियामक समिति के अधिकारियों ने कहा है कि मेडिकल पाठ्यक्रम के लिए अंतरिम तय फीस में सभी सुविधाएं शामिल हैं। संस्थानों को निर्देशित किया गया है कि प्रति वर्ष तय किए गए फीस में मेडिकल छात्रों से यूनिफार्म, आइडी कार्ड, लेबोरेटरी, विभिन्न सांस्कृतिक कार्यक्रमों, खेलकूद, एनएसएस, भवन, फर्नीचर, उपकरण आदि मदों में कोई अतिरिक्त राशि वसूल नहीं किया जाएगा।
अतिरिक्त फीस वसूली पर कार्रवाई:
किसी भी तरह की फीस की तय राशि से अधिक की वसूली हुई तो निजी मेडिकल कालेजों पर कार्रवाई की जाएगी।