रायपुर: स्टील व्यापारी से 3.54 करोड़ की ठगी, एक आरोपी गिरफ्तार
रायपुर: स्टील व्यापारी से 3.54 करोड़ की ठगी, एक आरोपी गिरफ्तार

रायपुर में एक दिलचस्प मामले में, एक स्टील व्यापारी को उसके ही कर्मचारी द्वारा ठगी का शिकार होना पड़ा। देवेन्द्र नगर थाना में दर्ज शिकायत के अनुसार, दशरथ कुकरेजा नामक व्यापारी की पत्नी गोपाला इंटरप्राईजेस नामक फर्म चलाती हैं। फर्म स्टील सामग्री के कच्चे माल के क्रय-विक्रय का काम करती है। दशरथ के एक अन्य फर्म बालाजी इस्पात में भूपेंद्र सिंह ठाकुर एकाउंटेंट के पद पर कार्यरत था।

दशरथ की पत्नी की स्वास्थ्य में अनियमितता होने के कारण, भूपेंद्र सिंह ठाकुर ने फर्म का प्रतिनिधि बनकर व्यवसाय संभालने का प्रस्ताव दिया और अधिक मुनाफा दिलाने का आश्वासन दिया। इसके बदले में वह लाभांश प्राप्त करेगा। भूपेंद्र ने गोपाला इंटरप्राईजेस का प्रतिनिधि बनकर फर्म के व्यवसाय का संचालन किया, खरीद-बिक्री के निर्णय लेने लगा, और फर्म के बैंक खाते का आईडी पासवर्ड, ओटीपी प्राप्त कर खाते का संचालन किया।

कुछ समय बाद दशरथ को पता चला कि भूपेंद्र ने अपने साथी फैज अहमद और अन्य लोगों के साथ मिलकर दशरथ के फर्म के नाम पर अलग-अलग फर्मों को माल आपूर्ति का झांसा देकर उनसे एडवांस कुल रकम लगभग 3,54,28,636/- रूपये ले लिए, लेकिन फर्म में जमा न कर अपने साथियों के बैंक खातों में कमीशन के रूप में स्थानांतरित कर दिया।

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जब दशरथ ने भूपेंद्र से पूछताछ की तो उसने अपनी गलती स्वीकार करते हुए जल्द ही पैसे वापस करने का आश्वासन दिया और फरार हो गया। इस प्रकार भूपेंद्र सिंह ठाकुर ने अपने साथी फैज अहमद और अन्य के साथ मिलकर फर्म को माल आपूर्ति हेतु प्राप्त एडवांस की रकम लगभग 3.54,28,636/- रूपये अपने साथियों के खाते में जमा कर ठगी की।

इस मामले में देवेन्द्र नगर थाना में आरोपियों के विरूद्ध अपराध क्रमांक 303/24 धारा 318(4), 316(5), 61 बी.एन.एस. का अपराध पंजीबद्ध किया गया। पुलिस टीम ने फैज अहमद को गिरफ्तार कर उसके कब्जे से घटना से संबंधित 01 नग मोबाइल फोन जप्त कर लिया। फैज अहमद ने पूछताछ में अपने साथी भूपेंद्र सिंह ठाकुर और अन्य के साथ मिलकर ठगी की घटना को अंजाम देने की बात स्वीकार की। अन्य आरोपी फरार हैं, जिनकी गिरफ्तारी के लिए पुलिस हर संभव प्रयास कर रही है।

यह घटना हमें यह सिखाती है कि किसी भी व्यावसायिक लेनदेन में सावधानी बरतना बहुत ज़रूरी है। अपने कर्मचारियों पर भरोसा करना जरूरी है, लेकिन उनकी गतिविधियों पर नज़र रखना भी उतना ही ज़रूरी है। इस मामले में पुलिस द्वारा त्वरित कार्रवाई और फैज अहमद की गिरफ्तारी से यह उम्मीद जगी है कि शेष आरोपियों को भी जल्द ही पकड़ा जाएगा।

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