रायगढ़ ।  कोरोना काल में जब कई प्रकार के प्रतिबंध लागू थे और लोग लॉकडाउन के चलते घरों पर रहने को भी मजबूर थे। ऐसे में बैंक सखियों ने लोगों तक वित्तीय सहायता पहुंचाने में बड़ी भूमिका निभाई। जिले में अप्रैल से जुलाई तक चार महीनों में बैंक सखियों ने 34 करोड़ 67 हजार 248 रुपये का लेनदेन किया है। जिससे लोगों को घर बैठे उनके पैसे मिले।

          जिला रायगढ़ अंतर्गत ‘बिहान’ से जुड़ी बैंक सखियां लाकडाउन में अपनी पूरी जिम्मेदारी निभा रही है। कोरोनाकाल में आपदा की इस घड़ी में जब लोग अपने घरों से बाहर नही निकल रहे हैं, ऐसी विषम परिस्थिति में भी बैंक सखियां विभिन्न माध्यमों से गांव के जरूरतमंदों तक घर पहुंच विभिन्न प्रकार से वित्तीय सहायता प्रदान कर रही है। इस दौरान उन्होंने मनरेगा साईट पर भुगतान, पेंशन भुगतान, प्रधानमंत्री जनधन खातों का भुगतान, प्रधानमंत्री किसान निधि, धान बोनस, आंगनबाड़ी कार्यकर्ताओं व सहायिकाओं का भुगतान, राशि अंतरण की सुविधा प्रदान करते हुए लाकडाउन की परिस्थिति में कोविड प्रोटोकाल का पालन करते हुये अपने गांवों और नजदीकी क्षेत्रों में बैंक सखियों के द्वारा विभिन्न विकासखंडों में 34 करोड़ 67 हजार 248 रुपये से अधिक का लेनदेन कर लोगों को वित्तीय सहायता पहुंचायी है। जिसमें अप्रैल माह में 3 करोड़ 17 लाख 97 हजार 863, मई में 5 करोड़ 99 लाख 77 हजार 913, जून में 9 करोड़ 33 लाख 7 हजार 239 और जुलाई में सबसे अधिक 10 करोड़ 84 लाख 20 हजार 318 रुपये का लेनदेन बैंक सखियों द्वारा किया गया।

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          उल्लेखनीय है कि एक बीसी एक जीपी योजनांतर्गत बैंक सखी की स्थापना के लिये बिहान अंतर्गत स्व-सहायता समूह से कम्प्यूटर कौशल में दक्ष बारहवी पास सदस्य का चयन पे पाइंट बीसी सखी एवं कियोस्क बीसी सखी के रूप में किया जाता है। इसके लिए लिखित परीक्षा एवं साक्षात्कार पश्चात निज ग्राम में स्थापना की जाती है। बीसी सखी के चयन पश्चात ग्रामीण स्वरोजगार प्रशिक्षण केन्द्र रायगढ़ द्वारा सात दिवसीय आवासीय प्रशिक्षण प्रदाय किया जाता है। प्रशिक्षण उपरांत सभी का आईआईबीएफ  की परीक्षा संपन्न की जाती है तथा परीक्षा में उत्तीर्ण होने वाली बीसी सखी को बायोमेट्रिक मशीन/मार्फो डिवाईस प्रदाय किया जाता है। रोस्टर अनुसार ग्रामीण क्षेत्रों मे सामान्य जन को बैंकिंग सुविधायें जैसे कि आहरण, जमा, आधार बनाना, आधार लिंक करना इत्यादि सेवायें बीसी सखी के माध्यम से दी जाती है।

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